Gadar 2: इस पूर्व सैनिक लव स्टोरी से मिलती है सनी की फिल्म ग़दर से, देखे ख़ास ख़बर
- By Sheena --
- Friday, 11 Aug, 2023
Sunny Deol Film Gadar Inspired From Ex Soldier Boota Singh and Zainab Real Love Story
Gadar 2 : ‘गदर 2’ (Gadar 2) 11 अगस्त को रिलीज़ हो चुकी है। सनी देओल की गदर 2 को लोग बहुत ही ज्यादा पसंद कर रहे है। फिल्म ने एडवांस बुकिंग में 20 लाख कमा चुकी है। सनी की फिल्म ने एक बार फिर सिनेमाघरों की रौनक लौटा दी है। गदर 2 की रिलीज का बेसब्री से इंतजार कर रहे दर्शकों ने तारा सिंह और सकीना के कमबैक पर रिएक्शन देना भी शुरू कर दिया है। सनी देओल और अमीषा पटेल स्टारर यह फिल्म पहले ही फैन्स के बीच काफी चर्चा में है। लेकिन क्या आप जानते है की भारत-पाकिस्तान के विभाजन पर बनी सनी की पहली फिल्म गदर एक पूर्व सैनिक बूटा सिंह की दर्दनाक लव स्टोरी पर बनी है चलिए जानते है इस सिपाही के जीवन के बारे में...
बूटा सिंह और जैनब की कहानी है ‘गदर’
Gadar: Ek Prem Katha 1947 में हुए भारत-पाकिस्तान के बंटवारे पर आधारित है। इसमें सनी एक सरदार तो अमीषा पटेल एक मुस्लिम लड़की के रोल में नजर आई थी। इस फ़िल्म की कहानी एक बूटा सिंह और जैनब की कहानी पर बहुत हद बेस्ड थी, जिनकी दुखभरी प्रेम कहानी ने भारत से लेकर पाकिस्तान तक की आवाम को झकझोर दिया था। इस कहानी में बूटा सिंह ब्रिटिश सेना के एक पूर्व सिख सिपाही थे। 1947 में भारत-पाकिस्तान बंंटवारे के वक़्त सांप्रदायिक दंगे भड़क गए थे। इन दंगों में एक मुस्लिम लड़की जैनब भी फंंस गई थी। बूटा सिंह ने उस लड़की की जान बचाई थी।
ज़ैनब और बूटा को किया गया अलग
भारत-पाक बंटवारे के वक्त बूटा ने एक मुस्लिम लड़की ज़ैनब की जान बचाई थी, दोनों को प्यार हुआ। शादी हुई और एक बेटी हुई। चूंकि ज़ैनब मुसलमान थी, इसलिए उसे पाकिस्तान भेज दिया गया। बूटा सिंह को पाक नहीं जाने दिया गया। ज़ैनब के लिए वो गैरकानूनी तरीके से पाकिस्तान पहुंच जाता है। उसके परिवार वालों से मिलने की कोशिश करता है, पर ज़ैनब के घरवाले उसकी शादी चचेरे भाई से करा देते हैं। इधर बूटा सिंह को पाकिस्तान में गैरकानूनी तरीके से घुसने के लिए पकड़ लिया जाता है। उसे बताया जाता है कि ज़ैनब ने बूटा से की गई शादी मानने से इनकार कर दिया है। इससे बूटा इतना दुखी होता है कि ट्रेन के आगे कूदकर जान दे देता है।
बूटा सिंह की आंखिरी इच्छा भी नहीं हुई पूरी
बूटा सिंह की आखिरी इच्छा थी कि उन्हें ज़ैनब के गांव नूरपुर में दफ़नाया जाए, लेकिन उनके परिवार ने इसकी अनुमति नहीं दी। उन्हें मिआनी साहिब में दफ़नाया गया, जहां उनकी कब्र युवा प्रेमियों के लिए एक तीर्थस्थल बन गई। गदर में फ़िल्म की कहानी थोड़ी अलग रही। उसमें तारा सिंह अपनी पत्नी सकीना को पाकिस्तान से वापस हिंदुस्तान ले आता है।
उपन्यास ‘मुहब्बत’ से भी मिलती है कहानी
बता दें, गदर के अलावा, बूटा सिंह की लव स्टोरी पर इशरत रहमानी ने एक उपन्यास ‘मुहब्बत’ लिखा है। वहीं, पंजाबी फिल्म ‘शहीद-ए-मोहब्बत बूटा सिंह (1999) पूरी तरह से इसी कहानी पर आधारित है। इस कहानी ने 2007 की कनाडाई फ़िल्म, ‘पार्टिशन’ और 2004 की बॉलीवुड फिल्म ‘वीर ज़ारा’ को भी प्रेरित किया है।